स्तोत्र ग्रन्थ

अध्याय : 1234567891011121314151617181920212223242526272829303132333435363738394041424344454647484950515253 54555657585960616263646566676869707172737475767778798081828384858687888990919293949596979899100101102103104105106107108109 110111112113114115116117118119120121122123124125126127128129130131132133134135136137138139140141142143144145146147148149150पवित्र बाईबल

स्तोत्र 54

3 (1-3) ईश्वर! अपने नाम द्वारा मेरा उद्धार कर, अपने सामर्थ्य से मुझे न्याय दिला।

4 ईश्वर! मेरी प्रार्थना सुन और मेरे शब्दों पर ध्यान दे।

5 विदेशी मुझे घेरते हैं और अत्याचारी मुझे मारना चाहते हैं। वे ईश्वर की उपेक्षा करते हैं।

6 देखो! ईश्वर मेरी सहायता करता है, प्रभु ही मेरे जीवन का आधार है।

7 वह मेरे शत्रुओं से बुराई का बदला ले। तू अपनी सत्यप्रतिज्ञता के अनुरूप उनका सर्वनाश कर।

8 मैं तुझे उदार बलिदान चढ़ाऊँगा। मैं तेरा नाम धन्य कहूँगा, क्योंकि वह भला है।

9 उसने मुझे हर संकट में उबारा और मैं अपने शत्रुओं का डट कर सामना करता हूँ।