स्तोत्र ग्रन्थ

अध्याय : 1234567891011121314151617181920212223242526272829303132333435363738394041424344454647484950515253 54555657585960616263646566676869707172737475767778798081828384858687888990919293949596979899100101102103104105106107108109 110111112113114115116117118119120121122123124125126127128129130131132133134135136137138139140141142143144145146147148149150पवित्र बाईबल

स्तोत्र 99

1 प्रभु राज्य करता है। राष्ट्र भयभीत हों। वह केरूबों पर विराजमान है। पृथ्वी काँप उठे।

2 प्रभु सियोन में महान् है। वह सब राष्ट्रों से ऊँचा है।

3 वे उसके विराट् एवं श्रद्धेय नाम का गुणगान करें। प्रभु पवित्र है।

4 शक्तिशाली न्यायप्रिय राजा! तूने अपरिवर्तनीय न्याय स्थापित किया, तू याकूब में निष्पक्षता से न्याय करता है।

5 हमारे प्रभु-ईश्वर को धन्य कहो, उसके पावदान को दण्डवत् करो। प्रभु पवित्र है।

6 हारून और मूसा उसके पुरोहित थे, समूएल उसकी उपासना करता था। उन्होंने प्रभु की आज्ञाओं और नियमों का पालन किया।

7 उसने बादल के खम्भे में से उन से बातें कीं। उन्होंने प्रभु की आज्ञाओं और नियमों का पालन किया।

8 हमारे प्रभु-ईश्वर! तूने उनकी प्रार्थना सुनी। तूने उन्हें अपराध का दण्ड दिया, किन्तु उन्हें क्षमा भी प्रदान की।

9 हमारे प्रभु-ईश्वर को धन्य कहो। उसके पवित्र पर्वत को दण्डवत् करो। हमारा प्रभु-ईश्वर पवित्र है।