स्तोत्र ग्रन्थ

अध्याय : 1234567891011121314151617181920212223242526272829303132333435363738394041424344454647484950515253 54555657585960616263646566676869707172737475767778798081828384858687888990919293949596979899100101102103104105106107108109 110111112113114115116117118119120121122123124125126127128129130131132133134135136137138139140141142143144145146147148149150पवित्र बाईबल

स्तोत्र 149

1 अल्लेलूया! प्रभु के आदर में नया गीत गाओ, भक्तों की सभा में उसकी स्तुति करो।

2 इस्राएल अपने सृष्टिकर्ता में आनन्द मनायें। सियोन के पुत्र अपने राजा का जयकार करें।

3 वे नृत्य करते हुए उसका नाम धन्य कहें, डफली और सितार बजाते हुए प्रभु का भजन गायें;

4 क्योंकि प्रभु अपनी प्रजा को प्यार करता और पददलितों का उद्धार करता है।

5 प्रभु के भक्त विजय के गीत सुनायें और अपने शिविर में आनन्द मनायें।

6 उनका कण्ठ ईश्वर का गुणगान करे। उनके हाथ में दुधारी तलवार हो,

7 जिससे वे अन्य जातियों से बदला चुकायें, राष्ट्रों को दण्डित करें,

8 उनके राजाओं को बेड़ियाँ पहना दें, उनके नेताओं को लोहे की श्रृंखलाओं से बाँध लें

9 और उनके विरुद्ध दिया हुआ दण्ड पूरा करें। इस में सभी भक्तों का गौरव है। अल्लेलूया!