सामान्य काल
अठरावाँ सप्ताह
आज के संत : कूस की संत तेरेसा बेनेदिग्ला धर्मसंधिनी, शहीद


📙पहला पाठ: नूहम 2: 1, 3; 3 : 1 – 3, 6 -7

1 देखो! सन्देशवाहक पर्वतों पर आ रहा है, वह शांति घोषित करने आ रहा है। यूदा! अपने पर्व मनाओ और अपनी मन्नतें पूरी करो। कुकर्मी फिर कभी तुझ पर आक्रमण नहीं करेगा- उसका सर्वनाश हो गया है।

3 लुटेरों ने याकूब और इस्राएल को उजाडा और उनकी दाखबारियों को नष्ट किया है, किन्तु प्रभु याकूब और इस्राएल को उनका प्राचीन वैभव लौटा देगा।

1 धिक्कार है रक्तपिपासु निनीवे को! वह झूठ और लूट से कुट-कूट कर भरा हुआ है और लूटपाट से बाज नहीं आता।

2 सुनो-चाबुक की फटकार, पहियों की खडखडाहट, घोड़ों की टाप और रथों की घरघराहट।

3 देखो-घोड़ों का सरपट, तलवारों की दमक और भालों की चमक। कितने ही घायल और कितने ही मारे हुए! असंख्य शव पडे हुए हैं- लोग उन पर ठोकर खा कर गिर रहे हैं।

6 मैं तझ पर कीचड उछालूँगा, तुझे अपमानित करूँगा और काठ में तरे पांव जकड दूँगा।

7 जो तुझ पर दृष्टि डालेगा, वह मुँह फेर कर कहेगा- ”निनीवे का सर्वनाश हो गया है। कौन उस पर दया करेगा? तुझे सान्त्वना देने वालों को में कहाँ से ले आऊँ?”


📕 सुसमाचार : संत मत्ती 16: 24 – 28

24 इसके बाद ईसा ने अपने शिष्यों से कहा, “जो मेरा अनुसरण करना चाहता है, वह आत्मत्याग करे और अपना क्रूस उठा कर मेरे पीछे हो ले; 

25 क्योंकि जो अपना जीवन सुरक्षित रखना चाहता है, वह उसे खो देगा और जो मेरे कारण अपना जीवन खो देता है, वह उसे सुरक्षित रखेगा।

26 मनुष्य को इस से क्या लाभ यदि वह सारा संसार प्राप्त कर ले, लेकिन अपना जीवन ही गँवा दे? अपने जीवन के बदले मनुष्य दे ही क्या सकता है? 

27 क्योंकि मानव पुत्र अपने स्वर्गदूतों के साथ अपने पिता की महिमा-सहित आयेगा और वह प्रत्येक मनुष्य को उसके कर्म का फल देगा। 

28 मैं तुम से यह कहता हूँ- यहाँ कुछ ऐसे लोग विद्यमान हैं, जो तब तक नहीं मरेंगे, जब तक वे मानव पुत्र को राजकीय प्रताप के साथ आता हुआ न देख लें।”