इतवार, 10 सितंबर, 2023

वर्ष का तेईसवाँ सामान्य सप्ताह

📒 पहला पाठ : एज़ेकिएल 33:7-9

7) “मानवपुत्र! मैंने तुम को इस्राएल के घराने का पहरेदार नियुक्त किया है। तुम मेरी वाणी सुनोगे और इस्रएलियों को मेरी ओर से चेतावनी दोगे।

8) यदि मैं किसी दुष्ट से कहूँ, ’दुष्ट तू मर जायेगा’ और तुम कुमार्ग छोड़ने के लिए उसे चतावनी नहीं दोगे, तो वह अपने पाप के कारण मर जायेगा, किन्तु तुम उसकी मृत्यु के लिए उत्तरदायी होगे।

9) और यदि तुमने कुमार्ग छोड़ने के लिए उसे चेतावनी दी और उसने नहीं छोड़ा, तो वह अपने पाप के कारण मर जायेगा, किन्तु तुम्हारा जीवन सुरक्षित रह जायेगा।

📕 दूसरा पाठ : रोमियों 13:8-10

8) भातृप्रेम का ऋण छोड़कर और किसी बात में किसी के ऋणी न बनें। जो दूसरों को प्यार करता है, उसने संहिता के सभी नियमों का पालन किया है।

9 ’व्यभिचार मत करो, हत्या मत करो, चोरी मत करो, लालच मत करो’ -इनका तथा अन्य सभी दूसरी आज्ञाओं का सारांश यह है- अपने पड़ोसी को अपने समान प्यार करो।

10) प्रेम पड़ोसी के साथ अन्याय नहीं करता। इसलिए जो प्यार करता है, वह संहिता के सभी नियमों का पालन करता है।

📙 सुसमाचार : सन्त मत्ती 18:15-20

15) ’’यदि तुम्हारा भाई कोई अपराध करता है, तो जा कर उसे अकेले में समझाओ। यदि वह तुम्हारी बात मान जाता है, तो तुमने अपनी भाई को बचा लिया।

16) यदि वह तुम्हारी बात नहीं मानता, तो और दो-एक व्यक्तियों को साथ ले जाओ ताकि दो या तीन गवाहों के सहारे सब कुछ प्रमाणित हो जाये।

17) यदि वह उनकी भी नहीं सुनता, तो कलीसिया को बता दो और यदि वह कलीसिया की भी नहीं सुनता, तो उसे गैर-यहूदी और नाकेदार जैसा समझो।

18) मैं तुम से कहता हूँ- तुम लोग पृथ्वी पर जिसका निषेध करोगे, स्वर्ग में भी उसका निषेध रहेगा और पृथ्वी पर जिसकी अनुमति दोगे, स्वर्ग में भी उसकी अनुमति रहेगी।

19) ’’मैं तुम से यह भी कहता हूँ- यदि पृथ्वी पर तुम लोगों में दो व्यक्ति एकमत हो कर कुछ भी माँगेगे, तो वह उन्हें मेरे स्वर्गिक पिता की और से निश्चय ही मिलेगा;

20) क्योंकि जहाँ दो या तीन मेरे नाम इकट्टे होते हैं, वहाँ में उनके बीच उपस्थित रहता हूँ।’’